इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क फॉर प्रॉस्पेरिटी (आईपीईएफ) सिंगापुर में करेगा स्वच्छ अर्थव्यवस्था निवेशक फोरम का आयोजन
टिकाऊ बुनियादी ढांचे, जलवायु प्रौद्योगिकी और अक्षय ऊर्जा परियोजनाओं के लिए निवेश जुटाने के उद्देश्य से इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क फॉर प्रॉस्पेरिटी (आईपीईएफ) सिंगापुर में स्वच्छ अर्थव्यवस्था निवेशक फोरम का आयोजन करेगा। इसमें ईवी, सौर ऊर्जा पर भारतीय निवेश योग्य टिकाऊ बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को प्रदर्शित करने के लिए आईपीईएफ फोरम ने भारतीय प्रौद्योगिकी कंपनियों और स्टार्टअप्स से आवेदन मंगवाए है।
आईपीईएफ स्वच्छ अर्थव्यवस्था निवेशक फोरम के बारे में
इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क फॉर प्रॉस्पेरिटी के तहत एक पहल के रूप में आईपीईएफ स्वच्छ अर्थव्यवस्था निवेशक फोरम की शुरुआत की गई है। यह फोरम जलवायु प्रौद्योगिकी और अक्षय ऊर्जा क्षेत्रों के शीर्ष निवेशकों, वित्तीय संस्थानों, स्टार्ट-अप्स और उद्यमियों को एक साथ लाता है। इस पहल का लक्ष्य टिकाऊ बुनियादी ढांचे, जलवायु प्रौद्योगिकी और अक्षय ऊर्जा परियोजनाओं में निवेश जुटाना है।
आईपीईएफ फोरम सिंगापुर में भारत
सिंगापुर में आयोजित आईपीईएफ स्वच्छ अर्थव्यवस्था निवेशक फोरम में भारत स्वच्छ अर्थव्यवस्था क्षेत्र में अपनी अग्रणी स्थिति और इसे संचालित करने वाले विभिन्न नवीन समाधानों को प्रदर्शित करेगा। देश में वैश्विक निवेशकों को निवेश के अवसरों के लिए स्वच्छ अर्थव्यवस्था में कुछ बड़ी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं और शीर्ष जलवायु तकनीकी कंपनियों का प्रदर्शन भी करेगा।
वाणिज्य विभाग, आईपीईएफ से जुड़े कामकाज के लिए नोडल एजेंसी के रूप में कार्य कर रहा है। भारत की राष्ट्रीय निवेश संवर्धन एजेंसी इन्वेस्ट इंडिया आईपीईएफ स्वच्छ अर्थव्यवस्था निवेशक फोरम का प्रबंधन करती है।
भारतीय उद्योग के लिए निम्नलिखित दो ट्रैक में भाग ले सकते हैं:
जलवायु तकनीक ट्रैक: भारत में जलवायु तकनीक उद्यमी और कंपनियां इस ट्रैक के तहत आवेदन कर सकती हैं। आवेदन करने की अंतिम तिथि 26 अप्रैल, 2024 तक है। मई 2024 की शुरुआत में शीर्ष 100 कंपनियों की घोषणा की जाएगी और शॉर्टलिस्ट की गई कंपनियों को 5 से 6 जून 2024 को सिंगापुर में निवेशक फोरम में प्रदर्शन और प्रस्तुति के लिए आमंत्रित किया जाएगा। इच्छुक कम्पनियां पात्रता मानदंड, चयन की पद्धति और आवेदन जमा करने के लिए इस लिंक पर https://www.holoniq.com/ratings/indo-pacific-climate-tech-100 क्लिक कर सकती हैं।
इन्फ्रास्ट्रक्चर ट्रैक: इसमें ऊर्जा (इलेक्ट्रिक ग्रिड; सौर और तटवर्ती पवन सहित अक्षय ऊर्जा; टिकाऊ विमानन ईंधन; बैटरी भंडारण; हाइड्रोजन; हरित डेटा केंद्र), परिवहन और लॉजिस्टिक्स (जैसे इलेक्ट्रिक वाहन, ईवी चार्जिंग पॉइंट), अपशिष्ट प्रबंधन/अपशिष्ट से ऊर्जा बनाने वाली कम्पनियां भाग ले सकती है। अगले 18 महीनों में निजी निवेश के लिए तैयार परियोजनाओं को फोरम में प्रदर्शन के लिए प्राथमिकता दी जाएगी।
इच्छुक परियोजना प्रस्तावक और निवेशक के लिए संपर्क सूत्र: indiaipef@commerce.gov.in और IPEFInvestorForum@investindia.org.in
आईपीईएफ कौन है?
- आईपीईएफ का पूरा नाम इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क फॉर प्रॉस्पेरिटी है। इसे मई 2022 में लॉन्च किया गया था।
- इसका mukhy उद्देश्य क्षेत्र में सहयोग, स्थिरता और समृद्धि में योगदान करना है।
- इसमें सहयोग के चार स्तंभ व्यापार, आपूर्ति श्रृंखला, स्वच्छ अर्थव्यवस्था और निष्पक्ष अर्थव्यवस्था शामिल हैं।
- वर्तमान समय में आईपीईएफ में 14 देश शामिल है – फिजी, ब्रुनेई दारुस्सलाम, ऑस्ट्रेलिया, इंडोनेशिया, मलेशिया, जापान, कोरिया गणराज्य, भारत, फिलीपींस, सिंगापुर, थाईलैंड, न्यूजीलैंड, अमेरिका और वियतनाम।
- इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क फॉर प्रॉस्पेरिटी, हिंद-प्रशांत क्षेत्र के देशों को लचीले, टिकाऊ और समावेशी आर्थिक विकास को आगे बढ़ाने में सहायता करने के लिए एक प्लेटफॉर्म प्रदान करता है।
FAQs
सिंगापुर में।
इंडो-पैसिफिक इकोनॉमिक फ्रेमवर्क फॉर प्रॉस्पेरिटी।
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